EAST COAST TO WEST COAST-04 SANDEEP PANWAR
फ़िल्म सिटी देखने के बाद नारायण
जी की सवारी एक बार फ़िर हवा से बाते करने लगी। नारायण को जोश-खरोश से कार दौड़ाते देखकर
दिल खुश हो गया। उम्र का घुमक्कड़ी पर कोई असर नहीं होना चाहिए, यह बात हमारे नारायण
जी भली भांति सिद्ध कर चुके है। जिस कस्बे में हम पहुँच रहे थे वह अंग्रेजों (डच) के समय
में मुख्य पड़ाव/स्थान हुआ करता था। इस बात का सबूत यहाँ मिलने वाली सैकडों वर्ष पुरानी इसाई
कब्र देखने से पता लग जाता है। यहाँ आने से पहले मुख्य सड़क पर एक पुराना घन्टाघर भी
देखने को मिला। वैसे तो यह घन्टाघर आजकल बन्द है लेकिन फ़िर भी धरोहर के रुप में अपने
युग की याद दिलाता है। घन्टाघर के सम्मुख होते हुए हम आगे बढ़ते रहे। जैसे ही समुन्द्र
किनारे पहुँचे तो ईसाई कब्रगाह दिखाई दे गयी। चलिये आप भी सैकड़ों वर्ष पुरानी कब्र
गाह की सैर करिये।